ऑक्सिजन की किल्लत दूर करने के लिए सरकारी तेल कंपनियां लगाएंगी ऑक्सिजन प्लांट
हाइलाइट्स:
- कोविड19 की दूसरी लहर के बीच देश में ऑक्सिजन की भारी किल्लत पैदा हो गई है।
- ऐसे में तेल कंपनियों का यह ऐलान राहत भरा है।
- इन प्लांट्स को सरकारी क्षेत्र की तेल कंपनियां अपने कॉरपोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी (CSR) फंड्स से फाइनेंस करेंगी।
नई दिल्ली
Oxygen Shortage in India: सार्वजनिक क्षेत्र की तेल कंपनियां (Oil PSU) मेडिकल ग्रेड ऑक्सिजन बनाने के लिए देश में 100 ऑक्सिजन प्लांट (Oxygen Plants) लगाने वाली हैं। ये प्लांट उत्तर प्रदेश, बिहार, कर्नाटक, गोवा, केरल, महाराष्ट्र, गुजरात, राजस्थान, ओडिशा, मध्य प्रदेश और दिल्ली के हॉस्पिटल्स को कवर करेंगे। कोविड19 की दूसरी लहर के बीच देश में ऑक्सिजन की भारी किल्लत पैदा हो गई है। हॉस्पिटल बेड और दवाओं की कमी भी सामने आ रही है। ऐसे में तेल कंपनियों का यह ऐलान राहत भरा है।
पेट्रोलियम मंत्रालय ने गुरुवार को जारी एक बयान में कहा है कि इन ऑक्सिजन प्लांट्स की क्षमता इतनी होगी कि 200 से 500 बेड वाले हॉस्पिटल्स को ऑक्सिजन बनाकर भेजी जा सके। इन प्लांट्स को सरकारी क्षेत्र की तेल कंपनियां अपने कॉरपोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी (CSR) फंड्स से फाइनेंस करेंगी।
इसी माह से होने लगेंगे ऑपरेशनल
इन प्लांट्स के लिए इंडियन वेंडर्स को ऑर्डर दे दिए गए हैं। ये प्लांट्स मई माह से ही ऑपरेशनल होना शुरू हो जाएंगे और जुलाई तक सभी प्लांट्स ऑपरेशनल हो जाएंगे। इन ऑक्सिजन प्लांट्स में ऑक्सिजन जनरेट करने के लिए प्रेशर स्विंग एब्जॉर्प्शन टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल होगा। यह टेक्नोलॉजी डिफेंस रिसर्च एंड डेवलपमेंट ऑर्गेनाइजेशन और सेंटर फॉर साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च द्वारा उपलब्ध कराई जाएगी। प्रेशर स्विंग एब्जॉर्प्शन टेक्नोलॉजी वातावरण की हवा से नाइट्रोजन को सोखकर ऑक्सिजन की अधिकता वाली हवा को रिलीज करती है। प्राप्त हुई ऑक्सिजन को फिर हॉस्पिटल में मरीजों को सप्लाई किया जाता है।
तेल रिफाइनरी पहले से कर रहीं ऑक्सिजन की सप्लाई
तेल रिफाइनरी अभी ऑक्सिजन की सप्लाई कर रही हैं। साथ ही लिक्विड मेडिकल ऑक्सिजन के ट्रान्सपोर्ट के लिए क्रायोजेनिक कंटेनर्स भी खरीद रही हैं। भारत में 23 रिफाइनरियों की कुल मिलाकर रिफाइनिंग कैपेसिटी 249.36 मिलियन टन सालाना है।